सत्याग्रह आंदोलन के दूसरे दिन शुक्रवार को
शिक्षामित्रों ने न सिर्फ बीएसए कार्यालय पर धरना दिया, बल्कि सत्याग्रह
जुलूस निकालकर शासन-प्रशासन को शक्ति का एहसास भी कराया। भारी संख्या में
कलेक्ट्रेट पहुंचे शिक्षामित्रों ने मानव श्रृंखला बनाकर जिलाधिकारी
कार्यालय घेरा। शिक्षामित्रों ने जिलाधिकारी सुरेन्द्र विक्रम को मांगों से
सम्बंधित मुख्यमंत्री को सम्बोधित मांग पत्र सौंपा। सभा में शासन प्रशासन
को चुनौती दी गई कि यदि जरूरत पड़ी तो शिक्षामित्र विद्यालयों पर तालाबंद
करने से भी पीछे नहीं हटेंगे।
सरकार की वादाखिलाफी के खिलाफ
शिक्षामित्रों के धरना प्रदर्शन सभा को संबोधित करते हुए राज्य कर्मचारी
संयुक्त परिषद के जिला महामंत्री वेद प्रकाश पाण्डेय ने कहा कि भाजपा सरकार
दोहरे मापदंड पर काम कर रही है। सरकार ने जहां 175000 कर्मचारियों को पैदल
करने का काम किया, वही प्रत्येक मंगलवार को समाधान दिवस लगाकर प्रदेश की
समस्याओं का झूठा समाधान कर रही है।
प्राथमिक शिक्षक संघ के जिलाध्यक्ष जितेंद्र सिंह ने कहा कि शिक्षामित्रों की रोजी-रोटी छीनने वाली सरकार को कुर्सी पर नहीं बैठने दिया जाएगा। यह लड़ाई पूरे शिक्षक समुदाय की है। कहा कि 17 वर्ष सेवा करने के बाद जिन लोगों की रोटी रोजी छीनी जाती है, उनकी स्थिति क्या होगी। कहा कि जरूरत पड़ी तो प्रदेश नेतृत्व के आह्वान पर जिले के विद्यालयों में ताले लगा दिए जाएंगे। सीनियर बेसिक शिक्षक संघ के जिला अध्यक्ष रविंद्र सिंह ने कहा कि शिक्षामित्रों का क्या दोष है। 17 वर्ष सरकार का काम करने के बाद शिक्षामित्रों को पैदल करने का पाप सरकार को ले डूबेगा।
कहा कि सरकार को समय रहते शिक्षामित्रों की मांगों पर ध्यान दे देना चाहिए। सरकार पहले ही उनसे वादाखिलाफी कर चुकी है। अब शिक्षामित्र ऐसा कुछ बर्दाश्त नहीं करेंगे।
धरना प्रदर्शन और जुलूस में राजेश साहनी, काशीनाथ यादव, सरल यादव, जितेन्द्र राय, विद्यासागर दुबे, मनीष सिंह, चन्द्रशेखर प्रसाद, पंकज सिंह, सूर्यप्रकाश यादव, संगम अली, परशुराम यादव, बसुंधरा राय, नीतू उपाध्याय, ज्ञान प्रकाश मिश्रा, शैलेंद्र सिंह, रिन्कू तिवारी, सुमेर यादव, अंकित मिश्रा, राजेश सिंह, दिनेश सिंह ने विचार रखे। अध्यक्षता रणजीत सिंह व संचालन श्याम नन्दन मिश्रा ने किया।
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प्राथमिक शिक्षक संघ के जिलाध्यक्ष जितेंद्र सिंह ने कहा कि शिक्षामित्रों की रोजी-रोटी छीनने वाली सरकार को कुर्सी पर नहीं बैठने दिया जाएगा। यह लड़ाई पूरे शिक्षक समुदाय की है। कहा कि 17 वर्ष सेवा करने के बाद जिन लोगों की रोटी रोजी छीनी जाती है, उनकी स्थिति क्या होगी। कहा कि जरूरत पड़ी तो प्रदेश नेतृत्व के आह्वान पर जिले के विद्यालयों में ताले लगा दिए जाएंगे। सीनियर बेसिक शिक्षक संघ के जिला अध्यक्ष रविंद्र सिंह ने कहा कि शिक्षामित्रों का क्या दोष है। 17 वर्ष सरकार का काम करने के बाद शिक्षामित्रों को पैदल करने का पाप सरकार को ले डूबेगा।
कहा कि सरकार को समय रहते शिक्षामित्रों की मांगों पर ध्यान दे देना चाहिए। सरकार पहले ही उनसे वादाखिलाफी कर चुकी है। अब शिक्षामित्र ऐसा कुछ बर्दाश्त नहीं करेंगे।
धरना प्रदर्शन और जुलूस में राजेश साहनी, काशीनाथ यादव, सरल यादव, जितेन्द्र राय, विद्यासागर दुबे, मनीष सिंह, चन्द्रशेखर प्रसाद, पंकज सिंह, सूर्यप्रकाश यादव, संगम अली, परशुराम यादव, बसुंधरा राय, नीतू उपाध्याय, ज्ञान प्रकाश मिश्रा, शैलेंद्र सिंह, रिन्कू तिवारी, सुमेर यादव, अंकित मिश्रा, राजेश सिंह, दिनेश सिंह ने विचार रखे। अध्यक्षता रणजीत सिंह व संचालन श्याम नन्दन मिश्रा ने किया।
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